कोलकाता नगर निगम : नए नियम के तहत महानगर में आयोजित होने वाले कार्यक्रम, मेला या सांस्कृतिक कार्यक्रमों के आयोजन के पहले ही आयोजकों को मनोरंजन कर का भुगतान करना होगा। कर भुगतान के बाद ही अन्य विभागों से अनुमति मिल सकेगी। केएमसी सूत्रों के अनुसार कई बार आयोजक बिना मनोरंजन विभाग के स्वीकृति के ही कार्यक्रम आयोजित कर लेते हैं, जिससे निगम को राजस्व का नुकसान होता है। सभी संबंधित विभागों को निर्देश दिया गया है कि यदि कोई आयोजन केएमसी के मनोरंजन विभाग की सूची में दर्ज है और आयोजक ने मनोरंजन विभाग की स्वीकृति नहीं ली है, तो आयोजक को अनुमति प्रदान नहीं की जाएगी।
जिसमें मनोरंजन विभाग की स्वीकृति के बिना केएमसी के अन्य विभाग द्वारा अनुमति की ऑनलाइन आवेदन प्रक्रिया पूरी न हो सके। इसके साथ ही अगर किसी भवन (ऑडिटोरियम, बैंक्वेट हॉल) का मनोरंजन शुल्क बकाया है, तो जब तक बकाया राशि का भुगतान नहीं होता, तब तक उस भवन की नई बिल्डिंग प्लान को भी मंजूरी नहीं दी जाएगी।
कोलकाता नगर निगम ने मनोरंजन कर वसूली में बनाया रिकाॅर्ड
पश्चिम बंगाल में कोलकाता नगर निगम ने मनोरंजन कर (एम्यूजमेंट टैक्स) की वसूली में वित्त वर्ष 2018-19 का रिकॉर्ड तोड़ते हुए नया कीर्तिमान बनाया है. अधिकारी ने बताया कि महानगर में 144 वार्ड है. पर इतने वार्डों में अभियान चलाने के लिए विभाग में मात्र दो इंस्पेटर हैं. यदि हर वार्ड में एक इंस्पेक्टर होता,एम्यूजमेंट विभाग के एक अधिकारी ने बताया कि इस वर्ष अप्रैल से 13 दिसंबर तक 4.32 करोड़ से अधिक रुपये बतौर मनोरंजन कर वसूले गये हैं. निगम इसी अवधि में वित्त वर्ष 2018-19 में 3.93 करोड़ की वसूली हुई थी, जो 21 में 1 रिकॉर्ड था. यह इस बार टूट गया. मनोरंजन कर वसूली के लिए निगम ने 19 में 3. इस वर्ष बड़ा अभियान चलाया था, जिसका परिणाम दिख रहा है. चालू वित्त रुपये प्राप्त हो वर्ष के अंत तक पांच करोड़ से अधिक रुपये प्राप्त हो सकते है. निगम को इतिहास में पहली बार इतने रुपये की प्राप्ती हुई है।

2 इंस्पेक्टर के भरोसे चल रहा है कर वसूली 8का अभियान
यदि हर वार्ड में एक इंस्पेक्टर होता. तो हम और अधिक वसूली कर सकते थे. हमें यह देखना होता है कि निगम की अनुमति के बिना कहां सांस्कृतिक कार्यक्रमों में प्रोजेक्टर, म्यूजिक, स्क्रिन आदि का इस्तेमाल किया जा रहा है.कर वसूली के लिए कम्युनिटी हॉल और सांस्कृतिक कार्यक्रमों में निगम द्वारा अभियान चलाया जाता है. इंस्पेक्टरों के अभाव में हम ठीक से यह अभियान नहीं चला पा रहे हैं. विभाग में कुल 34 स्टॉफ है. 14 पद रिक्त पड़े हैं. 34 में से 20 कर्मचारियों को निगम के अन्य कार्यों में लगा दिया है. मात्र 11 कर्मचारी ही भागीय कामकाज संभाल रहे हैं.
कितना कब हुई वसूली
निगम एम्यूजमेंट विभाग के अनुसार, वित्त वर्ष 2021-22 में 2.60 करोड़, 2020- 21 में 1.70 करोड़ (कोरोना काल) 2019-20 में 3.47 करोड़ और 2018- 19 में 3.93 करोड़ की वसूली हुई थी!
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